संयोग से बचे मंत्री और लोग
खुली छतों के दिए कब के बुझ गए होते, कोई तो है जो हवाओं के पर कतरता है।
शुक्रवार को जम्मू -कश्मीर घूमने गए राज्य के कद्दावर मंत्री बृजमोहन अग्रवाल, पे्रम प्रकाश पाण्डेय व हज़ कमेटी के पूर्व चेयरमैन सलीम राज और पूर्व मंत्री हेमचंद यादव आतंकी हमले में बच गए। कहते हैं कि सुरक्षा हटी की दुर्घटना घटी। दरअसल इनके आगे-आगे जा रही आतंकी बस को हिजबुल मुज़ाहिदीन के आतंकियों ने निशाना बनाया। आतंकियों के ग्रेनेड से बीएसएफ की बस में आग लग गई और इसी दौरान उन लोगों ने अंधाधुंध गोलीबारी शुरू कर दी। इससे जवानों को संभलने का मौका नहीं मिल पाया। इस गोलीबारी में बीएसएफ के 3 जवान शहीद हो गए। इसमें गनीमत यही हुई कि सलीम राज की गाड़ी महज 25 फिट दूरी पर थी। तो पूर्व मंत्री हेमचंद यादव की गाड़ी भी काफी नजदीक तक पहुंच गई थी। हालांकि बृजमोहन अग्रवाल की गाड़ी 15 किलोमीटर आगे निकल चुकी थी। संयोग अच्छा था कि हमारे सारे मंत्री और उनके साथ गए स्टॉफ के लोग सकुशल बच गए। हालांकि इस घटना के बाद से स्थानीय प्रशासन ने उनकी सुरक्षा को और कड़ा कर दिया है।
सरकारों को ऐसे वीवीआईपी मूवमेंट के समय और अधिक सतर्कता बरतने की जरूरत होती है। तो वहीं मंत्रियों और वीवीआईपीज को चाहिए कि वो ऐसे संवेदनशील स्थानों के दौरे पर जाते समय अपनी सुरक्षा की समीक्षा किसी काबिल विशेषज्ञ से जरूर करवा लें। ध्यान रहे तकदीर बार-बार साथ नहीं देती। ऐसे में सुरक्षा को लेकर कोई भी समझौता नहीं किया जाना चाहिए।
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