नोटबंदी की मंदी से त्रस्त राजमिस्त्री दंपति ने पिया जहर




-नोटबंदी से छाई मंदी से पिछले एक महीने से बेरोजगार राजमिस्त्री दंपति ने जहर खाकर खुद$कुशी कर ली। इसमें पति की तो मौत हो गई मगर पत्नी का इलाज मेकॉज में जारी है। पूरे इलाके में दु:ख का माहौल है।

जगदलपुर ।

क्या है पूरा मामला-
सुकमा जिले के तोंगपाल थानांर्तगत ग्राम मारेंगा के कानापारा निवासी राजमिस्त्री रामधर पिता चन्नू कश्यप जाति गोंड (27) ने एक महीने से काम नहीं मिलने और आर्थिक तंगी से निराश होकर बुधवार शाम अपनी पत्नी रीना (22) के साथ जहर खा लिया। इस घटना में रामधर की मौत हो गई है। वहीं रीना का उपचार मेडिकल कॉलेज में चल रहा है।
 नोटबंदी से बस्तर में आत्महत्या करने की यह पहली घटना है। मेकॉज में इलाज करवा रही रामधर की पत्नी रीना का कहना है कि नोटबंदी के चलते उसके पति को पिछले एक महीना से काम नहीं मिल रहा था, जिससे वह काफी निराश था।
बुधवार शाम चार बजे वह काले रंग का जहर लेकर घर आया और अपनी परेशानी बताते हुए मुझसे अपने साथ आत्महत्या करने की बात कही। जिसे मैं टाल नहीं सकी और दोनों ने जहर पी लिया। कुछ देर बाद बेहोश हो गए। होश आया तो अपने को मेकॉज में पाया। बुधवार को तोंगपाल स्वास्थ्य केन्द्र से जगदलपुर लाते समय रामधर ने रास्ते में दम तोड़ दिया।
शुक्रवार को हुआ अंतिम संस्कार-
गुरुवार को शव परीक्षण के बाद शव परिजनों को सौंप दिया गया। शुक्रवार सुबह रामधर का अंतिम संस्कार कानागांव में कर दिया गया है। नोटबंदी के चलते बस्तर में किसी व्यक्ति द्वारा आत्महत्या करने की यह पहली घटना है। रीना ने बताया कि उसके पति के पास खेती बाड़ी नहीं है। उनकी मजदूरी से ही घर चलता था। शासन से प्राप्त इंदिरा आवास ही उनकी कुल संपत्ति है।

उधारी में टैक्सी कर घायल को लाए अस्पताल-
रामधर के ससुर शंकर ने बताया कि जैसे ही उन्हें जानकारी मिली कि उनके बेटी रीना व दामाद रामधर ने जहर खा लिया है, उन्होंने तीन हजार रुपए में एक टैक्सी किराया कर दोनों को मेकॉज जगदलपुर पहुंचाया। उनके पास इतने रुपए रुपए नहीं थे इसलिए घर से लाए 700 रुपए को टैक्सी वाले को दिया । शेष 2300 रुपए बाद में देने के लिए टैक्सी वाले को मनाया गया है।
-

Comments

Popular posts from this blog

पुनर्मूषको भव

कलियुगी कपूत का असली रंग

बातन हाथी पाइए बातन हाथी पांव